चुनावी अभियान में गृह मंत्री अमित शाह के उत्तराखंड में आने से पहले उनके राजस्थान में दिए गए एक चुनावी भाषण ने भाजपा में शामिल अन्य दलों के लोगों के भविष्य पर सवालिया निशान लगा दिया है। शाह ने कहा कि डर कर भाजपा में शामिल हो रहे दलबद्लुओं को भाजपा में कुछ नहीं मिलेगा। भाजपा कार्यकर्ता की जगह कोई नहीं ले सकता।
गृह मंत्री के बयान से उत्तराखंड में राजनीतिक सरगर्मी बढ़ गई है। लगता है कि उत्तराखंड में चुनावी सभा के जरिये शाह जरूर कोई हलचल बढ़ाएंगे। उनके आने से पहले राजस्थान में भाजपा कार्यकर्ताओं से कही एक खास बात ने उत्तराखण्ड की राजनीति में भी सनसनाहट पैदा कर दी है। शाह ने जोधपुर के चुनावी दौरे पर कहा कि जो डर भागकर भाजपा में आ रहे,उन्हें कुछ नहीं मिलेगा।वे आपकी जगह नहीं ले सकते हैं।यह समाचार राजस्थान से प्रकाशित होने वाले दैनिक भास्कर में प्रमुखता से छपा है। भाजपा के दिग्गज नेता अमित शाह के इस बयान के उत्तराखंड में वॉयरल होने के बाद कांग्रेस व अन्य दलों से भाजपा में आये दल बदलुओं में हलचल मची हुई है।
उत्तराखंड की बात करें तो कांग्रेस के शासनकाल में सरकार में रहे पूर्व मंत्री दिनेश अग्रवाल, राजेन्द्र भण्डारी समेत कई पूर्व विधायक ,ब्लाक प्रमुख व निकाय-पंचायत प्रतिनिधि भाजपा में शामिल हुए। इनमें कुछ नेता व उनके परिजन भ्र्ष्टाचार से जुड़े कई मामलों में फंसे हुए हैं। कई नेता अपने व्यापारिक व अन्य हितों पर चोट पहुँचने की वजह से भी भाजपा में शामिल हो गए। गैर भाजपाई नेताओ के भाजपा में शामिल होने से लोकसभा की सीटों की गणित भी गड़बड़ा गई है।
निकाय,पंचायत व विधानसभा की सीटों पर कई दावेदार इकठ्ठा हो गए।इन नेताओं की आमद से कई पुराने भाजपाई अपने राजनीतिक भविष्य को लेकर पसोपेश में हैं। पार्टी के शीर्ष नेताओं द्वारा दूसरे दलों के नेताओं को बड़ी आमद के लिए जोड़ तोड़ की राजनीति के आगे भाजपा में सामान्य कार्यक्रता मूकदर्शक बना हुआ है।
भाजपा का आम कार्यकर्ता दबी जुबान से कह रहा है कि भाजपा के भर्ती अभियान में क्षेत्र विशेष से जुड़े बड़े नेताओं को भी विश्वास में नहीं लिया गया। नतीजतन, कई नेता अपनी उपेक्षा व पार्टी समर्थकों के राजनीतिक भविष्य को लेकर गहरी चिंता में है।
आने वाले दिनों में निकाय,पंचायत व विधानसभा चुनावों में एक सीट पर कई उम्मीदवार खड़े दिखाई देंगे। 2016 की काँग्रेस में हुई टूट के बाद कई भाजपाइयों को मंत्री बनने के लाले पड़ गए। समझौते के तहत भाजपा ने पार्टी में शामिल हुए कई कांग्रेसियों को मंत्री बना उचित सम्मान दिया। इसे लेकर भी निष्ठावान भाजपाइयों की कुढ़न कई बार सामने भी आयी।
इस बार भी सैकड़ों की संख्या में आये कांग्रेसियों की वजह से भाजपा में कसमसाहट साफ देखी जा रही है। कमोबेश यही हालात अन्य राज्यों में भी नजर आ रहे है। लिहाजा, राजस्थान के चुनावी दौरे पर गए गृह मंत्री अमित शाह को पार्टी बैठक में कहना पड़ा कि- जो लोग डरकर या भाग-भागकर भाजपा में शामिल हो रहे हैं, उन्हें कुछ नहीं मिलेगा। आपकी जगह कोई नहीं ले सकता।